ग्वालियर-चंबल अंचल

कंपू थाना प्रभारी श्री त्रिपाठी दोषमुक्त, महिला और गवाहों ने कोर्ट में बदले बयान

ग्वालियर। जिला कोर्ट ने करीब एक साल पहले कंपू के थाना प्रभारी रहे केएन त्रिपाठी को एक महिला के साथ दुष्कर्म की कोशिश करने के आरोप से दोषमुक्त कर दिया है. साथ ही टीआई द्वारा महिला को अवैध हिरासत में रखना भी सिद्ध नहीं पाया है. कोर्ट ने इसके पीछे फरियादी महिला का अपने पूर्व में दिए गए बयान से मुकरना बताया है.खास बात ये है कि महिला के साथ बतौर गवाह मौके पर मौजूद रहीं सबा रहमान, अंजलि चौहान और संगीता चंदेल भी फरियादी के साथ ही अपने बयान से पलट गईं. कंपू थाने के तत्कालीन टीआई कैलाश नारायण त्रिपाठी को महिला के साथ छेड़खानी के आरोप में गृह विभाग द्वारा बर्खास्त किया जा चुका है. त्रिपाठी पर केबिन में फरियादी महिला के साथ दुष्कर्म करने की कोशिश का आरोप लगा था, जिसके बाद लंबे समय तक टीआई फरार रहे. बाद में उन्हें हाई कोर्ट से ही अग्रिम बेल मिल गई थी. फरियादिया 21 अक्टूबर 2020 की सुबह अपनी सहयोगी सबा रहमान और अंजलि चौहान के साथ कंपू थाने के तत्कालीन टीआई त्रिपाठी के केबिन में गई थी, उसे अपनी एक सहेली के वाहन की अस्पताल परिसर से चोरी होने की शिकायत दर्ज करानी थी.महिला ने उस समय बताया था कि टीआई ने उसके साथ बलात्कार करने की कोशिश की है. इस घटना की तस्दीक के लिए उसने अंजलि चौहान और संगीता चंदेल से थाने के बाहर खड़े होकर केबिन से निकलते हुए वीडियो भी बनवाया था. साथ ही फरियादी महिला ने टीआई के साथ हुई बातचीत की ऑडियो क्लिप भी महिला पुलिस को सौंपा था. बाद में वह ऑडियो क्लिपिंग में अपनी आवाज होने से भी मुकर गई. जेएमएफसी मयूरी गुप्ता ने फरियादिया और साक्षियों के बयान पलटने के कारण टीआई को दोनों धाराओं से दोषमुक्त कर दिया. अब टीआई की दोबारा शासकीय सेवा में लौटने की संभावना बढ़ गई है. उनके रिटायरमेंट में कुछ ही वक्त बचा है. ऐसे में कोर्ट ने टीआई को दोषमुक्त कर बड़ी राहत दे दी है. हालांकि, टीआई के ऊपर आरोप लगाने वाली महिला के खिलाफ कोर्ट ने कोई कार्रवाई नहीं की है.

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