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सीहोर थाने के ग्राम चितहारी बीजौर की सिंध से रेत का अवैध उत्खनन दिन और रात खुलेआम जारी, प्रशासन बेखबर*।

   

बाहरी गुंडे रेत माफियाओ ने डाला  करैरा में डेरा

प्रशासन की आंखों में हुआ मोतियाबिंद राजपाल एवं चुनाव आयोग  से की जांच कराने की मांग ।

                 * बृजेश पाठक जिला अधिमान्य पत्रकार मध्य प्रदेश शासन *

ग्वालियर , शिवपुरी। आजाद समाचार । *वही मध्य प्रदेश मुख्य सचिव एसपी कमिश्नर को संकल्प दिला रहे हैं की रेत का अवैध उत्खनन नहीं होना चाहिए । उसके बावजूद भी रेत माफिया खुलेआम रेत का अवैध उत्खनन एवं परिवहन कर रहे हैं फिर भी प्रशासन कार्रवाई के नाम पर मौन है ।

          सूत्रों की माने तो ग्वालियर एवं शिवपुरी जिला प्रशासन की आंखों में मोतियाबिंद हो चुका है इसलिए इन्हें अबैध रेत उत्खनन नहीं दिखाई देता है । ग्रामीणों ने मंगू भाई पटेल महामहिम राज्यपाल महोदय एवं प्रशासन के मुखिया मुख्य सचिव से मांग है कि कर्मचारी एवं अधिकारियों की आंखों की जांच करवाएं और मोतियाबिंद नामक बीमारी का इलाज करवाएं अन्यथा करैरा एवं डबरा, राजस्व अनुविभाग  में प्राकृतिक खनिज संपदा के अलावा सरकार की अन्य संपत्ति की चोरी भी हो सकती है ।

         आपको बता दें ग्वालियर संभाग के करैरा, डबरा अनुभाग के अंतर्गत आने वाले सिंध नदी के घाटों से दिन और रात अवैध रेत उत्खनन पनडुब्बियों डालकर जेसीबी की मदद से सिंध नदी से खुलेआम धड़ल्ले से किया जा रहा है । 

  रेत माफिया खुलेआम शासन प्रशासन के नाक के नीचे से अवैध रेत उत्खनन कर रहे हैं वही सिंध नदी किनारे डबरा, अनुविभाग के लिधौरा, लोहारी, गाजापुर, सेमरी, कैथोदा और करैरा अनुविभाग के कलीपहाडी, धमधोली, बहगवां, सीहोर, चिंतहारी, दोनी, कल्याणपुर, दैहटा साहनी, आदि घाटोसे एवं महुअर नदी के मुंगावली, मछावली,शिलरा,अन्दौरा, आदि सभी घाटों पर खुलेआम अवैध रेत उत्खनन हो रहा है । सैकड़ों ट्रैक्टर ट्रॉली रात में रेत परिवहन करने में लगे हैं । यह सभी रेत के वाहन अधिकारी कर्मचारियों के सामने से गुजर रहे हैं फिर भी इन पर कोई कार्यवाही नहीं की जा रही इससे कहीं ना कहीं शासन प्रशासन की मिलीभगत उजागर होती है ऐसा नहीं है कि पुलिस एवं प्रशासन को इसकी जानकारी ना हो लेकिन फिर भी कोई कार्रवाई करने के लिए तैयार नहीं है देखने वाली बात होगी इन रेत माफियाओं पर कब कार्रवाई होती है । 

जब से मध्य प्रदेश में चुनाव का बिगुल बजा है और चुनाव आयोग  ने कमान संभाली है । उनका भी इस और कोई ध्यान नहीं है  प्रशासन की इसी उदासीनता के कारण रेत माफिया दिन और रात अवैध पनडुब्बियों की सहायता से जेसीबी के माध्यम से नदी को छलनी करने में लगे हैं ।

*बाहरी गुंडे रेत माफियाओ ने डाला  करैरा में डेरा*

*चितारी घाट , कल्याणपुर , दौनी , रौनीजा , लमकना चौतरफा अवैध उत्तखन्न हुआ प्रारंभ*।

करैरा :-  करैरा में प्रशासन की मिलीभगत से नवीन रेत माफियाओं द्वारा अवैध रेत उत्तखन्न एवं रेत परिवहन का संचालन प्रारंभ कर दिया है। रेत माफियाओं द्वारा विधिवत रेत नाके भी प्रारंभ कर दिए है जहाँ बाहरी गुंडे भी बैठे दिखाई दे रहे है । आखिरकार प्रशासन ने आंख में पर्दा डालकर रेत माफियाओं को कैसे छूट प्रदान कर दी । इन गुंडों के पास न रॉयल्टी है और न ही कोई परमीशन लेकिन यह हफ्ता वसूली पर उतर आये है इनका मुख्य उद्देश्य करैरा में गुंडागर्दी प्रथा को  बढ़ावा देना है ।  चितारी घाट,कल्याणपुर ,दबरा सानी ,दौनी,लमकना ,रौनीजा हर जगह एल एन टी मशीनों से उत्तखन्न हो रहा है वही चितारी पर 4-4 पनडुब्बी दिन रात नदी में रेत निकालने में लगी है । इन बाहरी गुंडे रेत माफियाओं से ग्रामीण जनता त्रस्त है इनसे गुंडागर्दी का माहौल निर्मित हो रहा है वही आचार सहिंता हटने के बाद यह गुंडे अवैध हथियारों के साथ भी गुंडे नाके संचलित करेंगे वहां रोजाना रेत टैक्टर बालो से 1000 से 2000 तक गुंडा टैक्स वसूलेंगे । जिसका बटौना पूरे जिले में बटेगा ।

          दूसरी और बिना शासन स्वीकृति के  सिंध नदी उन घाटों से पुलिस एवं राजस्व विभाग की मिली भगत से रेत का अवैध उत्खनन हो रहा है ।

 जिनकी स्वीकृति शासन ने नहीं दी है और यह अवैध रेत माफिया ना ही शासन के खजाने में कोई टैक्स जमा कर रहे हैं उन घाटों के नाम का ।

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